8th Pay Commission : 31 दिसंबर 2025 को 7वां वेतन आयोग का कार्यकाल समाप्त होगा, ऐसे में 1 जनवरी 2026 से 8वें वेतन आयोग के लागू होने की संभावना है।7वें वेतन आयोग में वेतन में 14.27% की वृद्धि हुई थी, अनुमान है कि 8वें वेतन आयोग में फिटमेंट फैक्टर 2.28 से 2.86 के बीच तय हो सकता है, जिससे वेतन में 30-40% की वृद्धि हो सकती है।
कयास लगाए जा रहे है कि 8th CPCs में न्यूनतम मूल वेतन 18,000 से बढ़कर 51,480 रुपये तक हो सकता है।अगर 1.92 फिटमेंट फैक्टर होता है तो वेतन में 92% की वृद्धि यानि 18,000 रुपये से बढ़कर 34,560 रुपये हो जाएगा। अब सवाल है कि 8वें वेतन आयोग में महंगाई भत्ता कितना होगा? क्या नया वेतन आयोग में डीए शून्य हो जाएगा ।? भत्तों में किस तरह से संशोधन होगा?आईए जानते है विस्तार से इन सभी सवालों के जवाब…………..
8th Pay Commission : डीए-भत्तों पर क्या पड़ेगा असर?
- समाजवादी पार्टी के सांसद जावेद अली खान ने राज्यसभा में पूछा था कि क्या केन्द्र सरकार 8वें वेतन आयोग की रिपोर्ट आने से पहले इसे केंद्रीय कर्मचारियों की बेसिक सैलरी या पेंशन में मर्ज करने का फैसला लेगी?
- इस पर राज्यसभा में वित्त राज्य मंत्री पंकज चौधरी ने लिखित जवाब देते हुए साफ कहा है कि 8वें वेतन आयोग से पहले DA को बेसिक सैलरी या पेंशन में मर्ज करने की उसकी कोई योजना नहीं है। DA/DR की दरों को हर 6 महीने में संशोधित किया जाता है, यह संशोधन AICPI-W के आधार पर किया जाता है, जिसे लेबर ब्यूरो, श्रम और रोजगार मंत्रालय द्वारा जारी किया जाता है, ऐसे में अनुमान है कि 8वें वेतन आयोग के लागू होने के बाद डीए, टीए और एचआरए में भी बदलाव हो सकता है।हालांकि अभी अधिकारिक पुष्टि होना बाकी है।
- 8वें वेतन आयोग के लागू होने पर महंगाई भत्ते को मूल वेतन में जोड़ा जा सकता है।चुंकी अगर महंगाई भत्ता 50% या उससे ज्यादा है, तो इसे नए पे-कमीशन पर मर्ज करने का प्रावधान है। जनवरी से जून 2026 के AICPI इंडेक्स से तय होगा कि महंगाई भत्ता कितना होगा। ये स्थिति साफ होते ही कर्मचारियों को 0 फीसदी से आगे महंगाई भत्ते दिया जा सकता है।
फिटमेंट फैक्टर पर क्या पड़ेगा असर?
- फिटमेंट फैक्टर का केन्द्रीय कर्मचारियों की बेसिक सैलरी तय करने में अहम रोल माना जाता है।इस फैक्टर के कारण ही केंद्रीय कर्मचारियों के वेतन में ढाई गुना से अधिक की बढ़ोतरी होती है।
- वर्तमान में कर्मचारियों का फिटमेंट फैक्टर 2.57 फीसदी है। फिटमेंट फैक्टर के आधार पर ही पुरानी बेसिक पे से रिवाइज्ड बेसिक पे की कैलकुलेशन की जाती है।
- 7वें वेतन आयोग में 2.57 फिटमेंट फैक्टर के कारण वेतन और पेंशन में वृद्धि के बाद केंद्रीय कर्माचारियों की न्यूनतम सैलरी 7,000 से बढ़कर 18,000 रूपये हो गई थी।
- 8वें वेतन आयोग में फिटमेंट फैक्टर 2.28 से 2.86 के बीच तय हो सकता है, जिससे वेतन में 30-50 फीसदी की वृद्धि हो सकती है। न्यूनतम मूल वेतन 18,000 रुपये से बढ़कर 51,480 रुपये हो जाएगा।
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